• [email protected]
News Photo

श्रद्धांजलि - कवि प्रदीप जयंती

प्रदीप को था गाने पर पूरा भरोसा पर  लताजी के मुताबिक, उन्हें बिल्कुल भी भरोसा नहीं था कि यह गाना इस कदर पॉपुलर हो जाएगा। वे कहती हैं, "सिर्फ प्रदीपजी को भरोसा था। उन्होंने मुझसे कहा था, 'लता तुम देखना यह गाना बहुत चलेगा। लोग हमेशा के लिए इसे याद रखेंगे।' मैंने इसे गंभीरता से नहीं लिया था। मुझे लगता था कि फिल्म का गीत न होने की वजह से इसका सीमित प्रभाव रहेगा। हालांकि, 'ए मेरे वतन के लोगों' मेरी सिग्नेचर ट्यून बन गया।"

लताजी कहती हैं कि उन्हें इस बात का अफसोस रहा है कि प्रदीपजी को गणतंत्र दिवस के प्रोग्राम में नहीं बुलाया गया था। अगर वे वहां होते तो अपनी आंखों से गाने का इम्पैक्ट देख सकते।

कवि प्रदीप जी हम सबके साथ हमेशा विद्यमान रहेंगे और उनकी गीता सदा हमें प्रेरणा देते रहेंगे। 

कवि प्रदीप ने अनेक गीत लिखे जो बच्चों में अत्यंत लोकप्रिय हुए जिनमें निम्नलिखित मुख्य हैं –

‘दे दी हमें आजादी बिना खड्ग बिना ढाल।
साबरमती के संत तूने कर दिया कमाल॥’

‘आओ बच्चो! तुम्हें दिखाएं झांकी हिंदोस्तान की।
इस मिट्टी से तिलक करो यह धरती है बलिदान की॥’

‘हम लाए हैं तूफान से कश्ती निकाल के।
इस देश को रखना मेरे बच्चो! संभाल के॥’

भारतीय सैन्य-वीरों के तप-त्याग व शौर्य का अमर-गान ‘ऐ मेरे वतन के लोगों’ लिखने वाले कवि प्रदीप जी का आज जन्मदिन है। स्वर-कोकिला लता दीदी की आवाज़ में यह गीत आज भी हर भारतीय के मन में अपने शहीदों के प्रति श्रद्धा को शतगुणित कर देता है। मॉं भारती के पराक्रमी-पुत्रों की गौरव गाथा को अपने शब्द-लालित्य द्वारा इतना सम्मोहक बनाने वाले इस अद्भुत शब्द-साधक को जन्मदिन पर आकाश भर प्रणाम।

Share This News

Comment

Join Vishva Kalyan Mission Trust & become a Volunteer